सुबू को दौर में लाओ बहार के दिन हैं
सुबू को दौर में लाओ बहार के दिन हैं हमें शराब पिलाओ बहार के दिन…
Read Moreसुबू को दौर में लाओ बहार के दिन हैं हमें शराब पिलाओ बहार के दिन…
Read Moreफूलों की टहनियों पे नशेमन बनाइये बिजली गिरे तो जश्न-ए-चराग़ाँ मनाइये कलियों के अंग अंग…
Read Moreजब गर्दिशों में जाम थे कितने हसीं अय्याम थे हम ही न थे रुसवा फ़क़त…
Read Moreमैकदा था चाँदनी थी मैं न था इक मुजस्सम बेख़ुदी थी मैं न था इश्क़…
Read Moreजो लोग जान बूझ के नादान बन गये मेरा ख़याल है कि वो इंसान बन…
Read Moreसुना है लोग बड़े दिलनवाज़ होते है मगर नसीब कहाँ कारसाज़ होते है सुना है…
Read Moreफूलों की आरज़ू में बड़े ज़ख़्म खाये हैं लेकिन चमन के ख़ार भी अब तक…
Read Moreफूलों की आरज़ू में बड़े ज़ख़्म खाये हैं लेकिन चमन के ख़ार भी अब तक…
Read Moreकितनी बे-साख़्ता ख़ता हूँ मैं आप की रग़बत ओ रज़ा हूँ मैं मैं ने जब…
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